Haryana Waqf Board: वक्फ संशोधन बिल (Waqf Amendment Bill, 2024) संसद में पारित हो चुका है. इसके बाद हरियाणा सहित पूरे देश में वक्फ की संपत्तियां और जमीन भी चर्चा का विषय बनी हुई है.
हरियाणा की वक्फ बोर्ड ने लगभग 20, 896 एकड़ जमीन लीज पर दे रखी है. जिसमें करीब 23 हजार किरायेदारों से किराया मिल रहा है. इतनी कमाई होने के बावजूद हरियाणा वक्फ बोर्ड की स्थिति आदमनी अठन्नी खर्चा रुपये वाली है.
हरियाणा वक्फ बोर्ड की सालान आय करीब 17 हजार करोड़ रुपये है, लेकिन खर्चा इससे अधिक होता है. कर्मचारियों को सैलरी देने के लिए कोई फंड भी नहीं था और अन्य खर्चे भी होते हैं. ऐसे में करीब 5 करोड़ रुपये तक का लोन लेना पड़ा. वक्फ से होने वाली कमाई का साथ 7 प्रतिशत हरियाणा वक्फ बोर्ड के पास आता है, जबकि एक प्रतिशत सेंट्रल वक्फ काउंसिल के पास चला जाता है. लेकिन आमदनी कम होने की वजह से काउंसिल को कमाई का एक प्रतिशत भी नहीं दिया जा रहा है.
हरियाणा वक्फ बोर्ड ने अपनी 12,560 संपत्तियों का डिजीटलटाइजेशन किया जा रहा है. लेकिन यह कार्य अभी तक पूरा नहीं हुआ है. उम्मीद लगाई जा रही है कि अब नया पोर्टल लागू किया जाएगा. जिसमें पूरे डेटा को शिफ्ट कर दिया जाएगा.
हरियाणा वक्फ बोर्ड ने जीआईएस मैपिंग के द्वारा 8202 वक्फ संपत्तियों की मैपिंग और जियो टैगिंग कर ली गई थी. इसी तरह इन प्रॉपटी के करीब 8 हजार फोटो भी वामसी ऑनलाइन सिस्टम पर अपलोड किए गए थे.
सदन में वक्फ संशोधन बिल, 2024 पारित होते ही, अंबाला के छावनी स्थित कार्यालय में सीएम फ्लाइंग की टीम ने छापे मारी. वक्फ बोर्ड से जुड़ी सभी जानकारी को एकत्रित किया.
1960 में हरियाणा-हिमाचल पंजाब वक्फ बोर्ड के अधीन थी
साल 1960 में पंजाब वक्फ बोर्ड बना था. उस दौरान हरियाणा, चंडीगढ़ और हिमाचल पंजाब वक्फ बोर्ड के अंतर्गत आता था. लेकिन बाद में इसे अलग कर हर राज्य ने अपना एक वक्फ बोर्ड बना लिया था. साल 2003 में हरियाणा वक्फ बोर्ड अस्तिव में आया था, जबकि प्रंबधन की जिम्मेदारी केंद्र सरकार के पास आ गई थी.
वक्फ संशोधन विधेयक में इस तरह लीज पर दी जाएंगी जमीन
वक्फ संशोधन विधेयक में जमीनों को 5, 10 और तीस साल तक लीज पर दी जा सकती है. इससे पहले जमीन केवल 3 साल तक के लिए लीज पर दी जाती थी. उसके बाद इसे आसानी से रिन्यू किया जाता है. हरियाणा वक्फ बोर्ड ने सिफारिश की थी कि इन सभी लीज तीस साल तक होने चाहिए. इसे अलग-अलग कैटेगरी में नहीं बांटना चाहिए.
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