हर शहर की अपनी एक खासियत और इतिहास होता है, जिसकी वजह से वह लोगों के बीच में चर्चा का विषय बना होता है. पर कई बार कुछ इतिहास ऐसे होते हैं, जिनके बारे में वहां पर रहने वाले लोगों को भी कोई जानकारी नहीं होती है. आज इस आर्टिकल में आपको हरियाणा के गुरुग्राम (गुड़गांव) शहर है जुड़ी एक अनोखी बात बताने जा रहे है, जिसे पढ़कर आप भी हैरान हो सकते हैं.

गुड़गांव शहर में साहिबी नदी (Sahibi) बहती है, जिसे अब नजफगढ़ नाला (Najafgarh Drain) के नाम से भी जाना जाता है. ये नदी जयपुर के जीतगढ़ नामक स्थान से निकलते हुए अलवर (राजस्थान), रेवाड़ी, गुरुग्राम (हरियाणा) से होते हुए दिल्ली के नजफगढ़ नाले में गिरती थी और फिर वहीं से वह नदी यमुना में जाकर मिल जाती थी. यह नदी पूरी तरह से बारिश पर निर्भर करती थी.
मीडिया सूत्रों के अनुसार, 1980 के दशक तक इस नदी में पानी रहता था. लेकिन अब सवाल ये है कि आखिरकार ये पानी गया कहां?
बरिश कम होने की वजह से यह नदी सूखती गई. साथ ही नदी को जबरदस्ती सुखाने का भी काम किया गया है. बाद में सुखी जमीन को प्लाट में काट कर लोगों को बेचा गया. इसके बाद ही गुरुग्राम का निर्माण हुआ.
लोगों का कहना है जिस साहिबी नदी में पहले बाढ़ आती थी, उस दिन का अब नामोनिशान तक गायब हो गया है. नदियों को सुखाकर इस रास्ते पर घर और बिल्डिंग्स बनाना काफी खतरनाक है.
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