24 September History: 24 सितंबर, 1932 को गांधी और डॉ. भीमराव अंबेडकर के बीच पूना पैक्ट पर हस्ताक्षर हुए थे. इसका उद्देश्य दलितों के राजनीतिक अधिकारों और प्रतिनिधित्व को लेकर विवाद को हल करना था. दरअसल, 1930 के दशक में, ब्रिटिश सरकार ने भारतीयों के लिए राजनीतिक सुधारों पर चर्चा करने के लिए एक गोलमेज सम्मेलन आयोजित किया था. इस सम्मेलन के दौरान, ब्रिटिश प्रधानमंत्री ने ‘कम्युनल अवार्ड’ की घोषणा की, जिसमें दलितों को एक अलग निर्वाचक मंडल का अधिकार दिया गया था. इसका मतलब यह था कि दलित समुदाय अपने नेताओं को चुनने के लिए अलग से वोट डाल सकते थे, जो दलितों को राजनीतिक रूप से मजबूत करता। गांधी इस अलग निर्वाचक मंडल के खिलाफ थे.